चीन ने तिब्बत के रास्ते कैलाश-मानसरोवर यात्रा शुरू करने के लिए भारत के साथ बातचीत जारी रखने की बात कही है। आपको बताते चलें कि भारत ने कुछ दिन पहले एक वयान जारी करते हुए कहा था कि चीन ने अभी तक इस साल का ब्रह्मपुत्र नदी के पानी का आंकड़ा उपलब्ध नहीं कराया है।
वही आज मंगलवार को चीन ने एक बयान जारी कर कहा कि वह फिलहाल ब्रह्मपुत्र नदी का जलीय आकंड़ा कुछ समय के लिए भारत के साथ साझा नहीं कर सकता क्योंकि तिब्बत में आंकड़ा संग्रहण केंद्र को अपग्रेड किया जा रहा है।
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फिलहाल चाइना ने दोनों देशों के बीच रिश्तों में नरमी के भी संकेत दिए हैं। चीन ने कहा है कि वह तिब्बत में कैलास- मानसरोवर आ रहे भारतीय तीर्थयात्रियों के लिए सिक्किम के पास नाथूला पास को फिर से खोलने के वास्ते भारत से बातचीत जारी रखने को तैयार है।
बता दें कि डोकलाम विवाद के चलते चीन ने मध्य जून में इस रास्ते को बंद कर दिया गया था। चीन के विदेश मंत्री के प्रवक्ता गेंग सुआंग ने यहां मीडियाकर्मियों से कहा, लंबे समय तक हमने भारतीय पक्ष के साथ नदी आंकड़े पर सहयोग किया, लेकिन चीन में संबंधित स्टेशन को अपग्रेड करने को लेकर फिलहाल हम इस स्थिति में नहीं हैं कि नदी के प्रासंगिक आंकड़े जुटा पाएं।
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जब भारत द्वारा उनसे पूछा गया कि चीन कब आंकड़े देगा, इस पर उन्होंने कहा, हम इसपर बाद में विचार करेंगे। जब उनसे यह पूछा गया कि क्या भारत को जलीय आंकड़ा साझा नहीं करने के बारे में सूचना दी गई है, उन्होंने कहा कि उनकी जानकारी के हिसाब से भारतीय पक्ष इससे वाकिफ है।
आपको बताते चले इससे पहले 18 अगस्त को भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा था कि पहले से ही, 2006 में स्थापित विशेषज्ञ स्तरीय प्रणाली है और दो ऐसे सहमति ज्ञापन हैं जिसके तहत चीन से 15 मई-15 जून के बाढ़ के सीजन के दौरान सतलुज और ब्रह्मपुत्र नदियों पर जलाीय आंकड़े साझा करने की उम्मीद की जाती है। रविश कुमार ने कहा था कि चीन स्वरा हमे कोई जलीय आंकड़े अब तक उपलब्ध नहीं कराये गए हैं।